मार्च में करे इस फसल की खेती, चंद दिनों में मालामाल बना देंगी यह फसल, देखे पूरी जानकारी गर्मी के मौसम में खीरे की खेती (Cucumber farming in summer) एक लाभदायक व्यवसाय हो सकता है। खीरा एक ऐसी सब्जी है जिसकी मांग पूरे साल बनी रहती है, खासकर गर्मियों में। इसकी खेती के लिए गर्म और आर्द्र जलवायु उपयुक्त होती है। यहां हम गर्मी में खीरे की खेती से जुड़ी सभी जरूरी बातों पर चर्चा करेंगे।
खीरे की मुख्य किस्मे
गर्मी के मौसम में खीरे की खेती के लिए उन किस्मों का चयन करना चाहिए जो अधिक तापमान और सूखे को सहन कर सकें। कुछ प्रमुख किस्में हैं:
पूसा संयोग: यह किस्म गर्मी के मौसम के लिए उपयुक्त है और इसकी पैदावार अच्छी होती है।
पूसा उदय: यह किस्म जल्दी पकने वाली है और गर्मी में भी अच्छी पैदावार देती है।
स्वर्ण पूरी: यह किस्म गर्मी और बारिश दोनों मौसम के लिए उपयुक्त है।
जापानीज लॉन्ग ग्रीन: यह किस्म लंबी और हरी होती है, जो गर्मी में अच्छी पैदावार देती है।
खीरे की खेती
खीरे की खेती के लिए बलुई दोमट मिट्टी सबसे उपयुक्त होती है।खीरे की खेती के लिए गर्म और आर्द्र जलवायु उपयुक्त होती है। खेत की अच्छी तरह जुताई करके मिट्टी को भुरभुरा बना लेना चाहिए। खेत में पुरानी गोबर की खाद या कम्पोस्ट डालकर मिट्टी को उपजाऊ बनाएं।गर्मी के मौसम में खीरे की बुवाई फरवरी से मार्च के बीच की जाती है।
खीरे की खेती से उपज और आमदनी
खीरे की फसल बुवाई के लगभग 45-60 दिनों के बाद तैयार हो जाती है। फलों को तब तोड़ें जब वे मध्यम आकार के हों और उनका रंग हरा हो। नियमित अंतराल पर फलों की तुड़ाई करते रहें ताकि पौधे नए फल देते रहें। गर्मी के मौसम में खीरे की औसतन पैदावार 150-200 क्विंटल प्रति हेक्टेयर होती है। बाजार में खीरे की अच्छी कीमत मिलने पर किसान अच्छा मुनाफा कमा सकते हैं।